आर. एफ. नीरलकट्टी
श्री आर. एफ़ नीरलकट्टी का जन्म 1 जून 1941 को हुआ। दक्षिण भारत में हिंदी प्रचार-प्रसार के इतिहास में श्री राजशेखर फ़कीरप्पा नीरलकट्टी का नाम सुवर्णाक्षरों में लिखे जाने योग्य है।
कार्यक्षेत्र
दक्षिण भारत हिंदी प्रचार सभा में एक सामान्य कर्मचारी के रूप में अपनी हिंदी सेवा यात्रा की शुरुआत करने वाले श्री नीरलकट्टी ने सभा की कर्नाटक इकाई के सचिव पद के बाद चारों प्रांतों के प्रधान सचिव, कार्यकारिणी समिति के कार्याध्यक्ष, प्रशासन समिति के अध्यक्ष तथा समकुलपति के रूप में इस संस्था का नेतृत्व किया और इसके माध्यम से हिंदी को अपनी उल्लेखनीय सेवाऍं प्रदान कीं।
श्री नीरलकट्टी विगत 50 वर्षों से निरंतर सेवा-भाव, कार्य दक्षता, दूरदर्शिता और सक्रियता के साथ दक्षिण भारत में हिंदी के प्रचार-प्रसार की ध्वजा उन्नत किए हुए हैं। आप महात्मा गांधी की भाषा नीति का अनुसरण करते हुए विभिन्न भारतीय भाषाओं के बीच समन्वय, सौहार्द्र एवं एकता के महत्वपूर्ण राष्ट्रीय दायित्व का निष्ठापूर्वक निर्वहन कर रहे हैं।
ऐसी समर्पित विभूति को गंगाशरण सिंह पुरस्कार से पुरस्कृत करते हुए केंद्रीय हिंदी संस्थान गौरवान्वित हैं।
संपर्क
समकुलपति, दक्षिण भारत हिंदी प्रचार सभा - कर्नाटक
डी.सी. कंपाउंड, धारवाड़-580001 (कर्नाटक)
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